Tuesday, January 10, 2017

आधार ही बनेगा सरकारी काम का आधार

मोबाइल नंबर के लिए आधार, पासपोर्ट के लिए आधार, पेमेंट के लिए आधार, सब्सिडी के लिए आधार और बैंक अकाउंट के लिए भी आधार....यहां तक कि एग्जाम में बैठने के लिए भी आधार जरूरी है। ऐसे में अगर अब भी आपने आधार नहीं बनवाया तो रोजमर्रा की जिंदगी मुश्किल हो सकती है। आधार के बारे में विस्तार से बता रहे हैं दिनेश माहेश्वरी :
आधार का मतलब
यूनिक आइडेंटिफिकेशन डिवेलपमेंट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (UIDAI) की ओर से हर नागरिक को जारी किया जाने वाला एक खास नंबर है।
- 12 अंकों का एक यूनिक नंबर हर नागरिक का यूनिक आइडेंटिफिकेशन नंबर यानी हर नागरिक के लिए एक नंबर।
- इसके लिए जिंदगी में एक बार आधार रजिस्ट्रेशन करा कर नंबर लेना होता है।
- रजिस्ट्रेशन के दौरान इसके लिए व्यक्ति की डेमोग्राफिक (जनसंख्या संबंधी) और बायोमेट्रिक (उंगलियां, अंगूठा और आंख की पहचान) जानकारी ली जाती हैं।

कौन बनवा सकता है
- देश का कोई भी नागरिक इसे तय डॉक्युमेंट्स पेश करके बनवा सकता है।
- नवजात शिशु का भी आधार कार्ड बन सकता है।
- नवजात के मामले में बायोमेट्रिक्स की जरूरत 5 साल की उम्र के बाद पड़ती है।
- आधार के लिए साल भर में कभी भी आवेदन किया जा सकता है।

फीस
- आधार कार्ड बनवाने की कोई फीस नहीं है।
- कई बार सेंटर पर प्लास्टिक के कार्ड भी बनाए जाते हैं जिसके लिए आधार बनाने के लिए जिम्मेदार एजेंसी UIDAI ने 25 रुपये की अधिकतम फीस निर्धारित की है।

जरूरी डॉक्युमेंट्स
दो तरह के डॉक्युमेंट चाहिए
1. फोटो पहचान पत्र
2. पते का प्रमाण

इनमें से कोई 2 लेकर जाएं:
पासपोर्ट, पैन कार्ड, राशन/ सार्वजनिक वितरण प्रणाली के फोटो कार्ड, वोटर आईडी, ड्राइविंग लाइसेंस, मनरेगा जॉब कार्ड, आर्म्स लाइसेंस, फोटो वाले डेबिट/क्रेडिट कार्ड, पेंशनभोगी फोटो कार्ड, स्वतंत्रता सेनानी फोटो कार्ड, किसान फोटो पासबुक, CGHS / ECHS फोटो कार्ड, गजेटेड ऑफिसर या तहसीलदार द्वारा लेटरहेड पर जारी किए गए फोटो की पहचान वाले प्रमाणपत्र, विकलांगता पहचानपत्र / संबंधित राज्य / संघ शासित सरकारों / प्रशासनों द्वारा जारी किए गए विकलांग चिकित्सा प्रमाण पत्र, बिजली बिल, पानी बिल, टेलिफोन का बिल या संपत्ति कर रसीद, क्रेडिट कार्ड स्टेटमेंट, गैस कनेक्शन बिल (3 महीने से ज्यादा पुराना न हो), रजिस्टर्ड बिक्री / लीज / रेंट के अग्रीमेंट
- आधार बनवाने के लिए सेंटर में पहचान और पते के तौर पर एक-एक प्रूफ ले जाना होगा। पहचान के प्रूफ के तौर पर आप पैन कार्ड, वोटर आईडी कार्ड या पासपोर्ट ले जा सकते हैं। पते के तौर पर आप वोटर आईडी कार्ड या पासपोर्ट, राशन कार्ड, अपने नाम का बिजली का बिल, पानी या दूसरे किसी सरकारी बिल की फोटो कॉपी ले जा सकते हैं।
- अगर कोई आई कार्ड नहीं है तो एमएलए, गजटेड ऑफिसर, एमपी या मेयर से ऐप्लिकेशन को वेरिफाई कराकर दे सकते हैं।
- अगर ये भी उपलब्ध न हों तो जिसका आधार पहले से बना हुआ है, वह आपके फॉर्म को वेरिफाई कर सकता है। यानी आपके परिवार में अगर किसी एक के पास भी पहचान का सबूत है तो वह अपना आधार कार्ड बनवाकर परिवार के बाकी सदस्यों के फॉर्म को वेरिफाई कर सकता है।
- आधार के लिए फोटो की जरूरत होती है, जो सेंटर पर ही खींचा जाता है।
- रजिस्ट्रेशन फॉर्म भरने के बाद उसे प्रिव्यू भी कर सकते हैं और जरूरत पड़ने पर ठीक भी कर सकते हैं।
- आखिर में आपको एनरॉलमेंट नंबर दिया जाएगा।

कितने दिन में मिलेगा कार्ड
- सामान्य प्रक्रिया के तहत एनरॉलमेंट होने के 2 से 3 महीनों में कार्ड बन कर घर के पते पर डिलिवर हो जाता है।
स्टेटस ऐसे जानें
- आधार कार्ड पाने के लिए रजिस्ट्रेशन कराने के बाद 14 डिजिट का एक एनरॉलमेंट नंबर एक स्लिप पर दिया जाता है, जिससे आप अपने आधार कार्ड बनने का स्टेटस जान सकते हैं।
- इसके लिए आपने जो मोबाइल नंबर फॉर्म में दर्ज कराया है, उसके जरिए मेसेज बॉक्स में UID स्पेस status लिखने के बाद स्पेस देकर अपना 14 डिजिट का एनरॉलमेंट नंबर लिखें और 51969 पर भेजें। उदाहरणः UID status < 1234/56789/01234
- अगर आपका आधार कार्ड बन चुका होगा तो उसका नंबर आपको मेसेज बॉक्स में मिल जाएगा। अगर कार्ड बनने में देरी हो रही होगी तो इसकी सूचना भी आपको फौरन मेसेज के जरिए ही मिल जाएगी।
- वेबसाइट uidai.gov.in से भी स्टेटस जान सकते हैं। इस साइट पर राइट साइड में Check Your Aadhaar Status पर क्लिक करें।

आधार कार्ड के लिए मोबाइल नंबर और ई-मेल नंबर दें
- आधार कार्ड का रजिस्ट्रेशन फॉर्म भरते वक्त मोबाइल नंबर देना चाहिए, क्योंकि इससे आपको मोबाइल पर एसएमएस के जरिए सरकारी सेवाओं की जानकारी मिलती रहती है। इसके अलावा आधार ऐप पर किए जाने वाले ट्रांजैक्शन की जानकारी भी आपको मिलती रहती है।
- इसी तरह ई-मेल आईडी देने से आपको मेल पर सरकारी सेवाओं के बारे में जानकारी लगातार मिलेगी।
- वैसे, मोबाइल और ई-मेल को आप आधार कार्ड बन जाने के बाद भी जुड़वा सकते हैं। इसके लिए आपको मैनुअल या ऑनलाइन एंट्री करानी होगी।

बैंक अकाउंट जोड़ना
आप रजिस्ट्रेशन फॉर्म भरते वक्त या उसके बाद भी अपने बैंक का अकाउंट आधार से लिंक करा सकते हैं। इसके लिए आपको मैनुअल या ऑनलाइन एंट्री करानी होगी।
कैसे जोड़ें बैंक से आधार
- अपने आधार के बैंक अकाउंट से जोड़ने का सबसे अच्छा तरीका यही है कि आधार कार्ड की कॉपी के साथ बैंक में उपलब्ध आधार लिंक फॉर्म को भर कर सबमिट कर दें।
- इसके अलावा नेटबैंकिंग के जरिए भी 'लिंक आधार कार्ड डिटेल्स' के ऑप्शन में जाकर भी आधार को बैंक अकाउंट से लिंक करवाया जा सकता है। जैसे ही लिंक होने की प्रक्रिया पूरी होगी आपके रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर इसका मैसेज आ जाएगा।
- आपका आधार नंबर आपके बैंक अकाउंट के साथ जुड़ गया है या नहीं यह पता करने के लिए उपभोक्ता अपने मोबाइल पर *99*99# डायल करें।
- इसके बाद 12 डिजिट का आधार नंबर डालें और ओके करें।
- आधार नंबर सही है यह पुष्टि करने के लिए 1 डायल करें।
- इसके बाद मोबाइल पर आधार कार्ड के बैंक से जुड़े होने की जानकारी मिल जाएगी।

आधार के फायदे
- कोई भी ऐसा काम, जिसमें पहचान की जरूरत होती है, इस कार्ड का इस्तेमाल हो सकता है।
- आपकी पहचान ऑनलाइन हो जाती है।
- इस कार्ड के जरिए वेरिफिकेशन की प्रक्रिया आसान हो जाती है।
- बार-बार आपको आई कार्ड और रेजिडेंस प्रूफ दिखाने की जरूरत नहीं पड़ती।
- प्रॉपर्टी के रजिस्ट्रेशन के लिए भी आधार कार्ड जरूरी कर दिया गया है।
- ईपीएफओ द्वारा संचालित ईपीएफ योजना के तहत फायदा पाने के लिए आधार कार्ड जरूरी है।
- छात्रों को दी जाने वाली स्कॉलरशिप भी आधार कार्ड के जरिए दी जाएगी।
- जेईई (मेन) में शामिल होने वाले स्टूडेंट्स के लिए भी आधार का होना जरूरी कर दिया गया है। इसके बिना वे एग्जाम नहीं दे सकते।
- लाइसेंस बनवाने, कार के रजिस्ट्रेशन व मोबाइल नंबर के लिए भी यह कार्ड जरूरी होगा।
- आधार कार्ड के जरिए अपना बैंक अकाउंट खुलवा सकते हैं।
- इस कार्ड को कोई और मिसयूज नहीं कर सकता है, जबकि राशन कार्ड या किसी अन्य आईडी प्रूफ के साथ कोई शख्स भी फजीवाड़ा कर सकता है।


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